हम चार दोस्तों ने चोदी एक लड़की की चुत। Desi Ladki Ki Xxx Chut Chudai

Desi Ladki Ki Xxx Chut Chudai पढ़े। हम तीन दोस्तों ने एक देसी लड़की की चूत मारी। हम चार दोस्त हैं, लेकिन एक को गांड मरवाना अच्छा लगता है। हम एक दूसरे की गांड मारते थे जब तक चूत नहीं मिलती थी।

प्रिय, यह कहानी हम चार दोस्तों के युवा जीवन पर आधारित है, जबहम गे सेक्स करते थे।

आपने मेरी पिछली कहानी पंजाबी दीदी की चुत सूज़ा दी। Punjabi Didi Xxx Sex Stories

पढ़ी थी।
हमारे चार दोस्तों को एक ही कक्षा में पढ़ाया गया था। एक साथ खेलते, नहाते और खाते थे।
रात को एक कमरे में पढ़ाई करते हुए सो जाते थे।
हम चारों एक दूसरे से अच्छे दोस्त थे।
एक दूसरे के मित्र और सहयोगी थे।
हॉट शॉट माल, लेकिन चारों पढ़ाई में अच्छे हैं।

हम मध्य स्कूल से ही बिगड़ गए थे, जब हम चुदाई की बात करने लगे और गाय, बैल, कुत्ते और कुतिया की चुदाई को बहुत मजा लेकर देखने लगे।
तालाब के घाट को देखने के लिए चारों ओर नहाने जाते थे. सामने के घाट पर नहाती महिलाओं पर हमारी देर तक नजरें टिकी रहतीं।

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कुछ ग्रामीण महिलाएं साड़ी पहनकर नहाती थीं।
गीली साड़ी, यानी सब पारदर्शी, उनके बदन पर चिपकी होती।
उनके दूध, जांघ और चूत सब दिखाई देते थे। हम चारों ओर देखते रहे।

नहाने के बाद वे साड़ी के एक हिस्से को निकालकर साड़ी को पलट कर पहनतीं, फिर साड़ी के गीले हिस्से को निकालकर कंधे पर डालतीं।
सामने वाले को साड़ी को पलटते समय उनका पूरा नंगा बदन दिखता।
शायद उन्हें ऐसा नहीं लगता था।

स्त्रीघाट के सामने वाले घाट में हम नहाते रहते थे, स्त्रियों की नंगी देह को देखने के लिए।

हम नहाने से पहले ये सीन देखने के लिए कुछ देर सामने खड़े रहते।
जब उनकी जांघ, दूध या कभी-कभी गांड दिखाई देती, तो हमारा लंड खड़ा हो जाता और हमें ये सब देखकर बहुत अच्छा लगता था।
हम अपने हाथों से अपने लौड़े सहलाने में मज़ा लेते।

हमने उन स्त्रियों में से किसकी रिश्तेदारों पर ध्यान नहीं दिया।
उस समय मुझे लगता था कि जो भी सामने आए, हमें बस उसकी नंगी देह देखना चाहिए।

मेरा दोस्त अनिल, यानी अनु, मेरे चारों दोस्तों में से सबसे अधिक प्यार करता है।
मैं अभी भी उसे बहुत प्यार करता हूँ। वह मेरा विरोधी भी है।

लेकिन वह बहुत हॉट है, वह झिझकता है। वह कभी किसी से सेक्स की बात नहीं करता, लेकिन अगर कोई ऐसा करता है तो वह बहुत खुश होकर चुदाई की बात करता है।

हम गांडू गांडू (देसी लड़की की चूत मारी) खेलते थे।

हम चारों दोस्त गे सेक्स या गांड मरवाने के खेल में दो कपल बन गए।
रात में पढ़ाई करने के बाद वे दरवाजे की सिटकिनी बंद करके सो गए।
फिर दोनों प्रेमी एक दूसरे से प्यार करने लगे।

जब हम एक जोड़ी बन गए, मेरे दो दोस्तों ने आपस में बदलकर मेल और फीमेल लिंक बनाए।
मैं और मेरा दोस्त अनिल दूसरे जोड़े में थे।
वह मुझे ज्यादा अच्छा लगता था, इसलिए मैं उसे अनु कहता था।

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अनु मेरी अभिसारिका होता।
वह स्त्री होती और मैं मर्द होता।
अनु को हर बार मैं ही चोदता था।
उसने कभी मुझे नहीं चोदा। साला बहुत घबरा गया था, और इसी कारण वह कभी कोशिश नहीं करता था।

रात को पढ़ाई के बाद मैं अनु से चिपक जाता था, उसकी गांड के छेद के सामने मेरा लंड तना हुआ था और एक पैर उसकी कमर पर रखता था।

मैं उसकी हथेली को अपने आंडों पर रखकर उसके लंड और आंड को कपड़े के ऊपर से सहलाने लगा।

अनु मेरे आंडों को बहुत प्यार से सहलाता है।
हमारे आंड कड़क होते।

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तब हम एक दूसरे के लंड को सहलाते, लुंगी खोलकर अंडरवियर भी उतार देते और टन टन करने लगते।

एक दूसरे के लौड़े को कुछ देर तक हिलाते हुए, फिर पीछे करके लंड की मुठ मारते हैं।
लंड सहलाना बहुत मजा आता था।

फिर लंड से पानी निकलने पर हाथ धोकर सो जाते।

हम लोग इसे हर दिन पकड़ते और हिलाते थे।
हिलाते हुए सर्र से वीर्य निकलते समय हमारे अंगों में जो खिंचाव और दर्द होता, वह एक अद्भुत अनुभूति देता।

जब उनकी आंखें बंद हो गईं, बस ऐसा लगता था कि वे जन्नत में आ गए।

जिस दिन मुझे गांड मारने का मन होता, मैं अनु को खिसकाकर एक करवट में लिटा देता।

हर शाम हमारा एक दोस्त एक कटोरी में तेल लाता था।

वह तेल हमारे लिए बहुत उपयोगी था जिस दिन हमें गांड में लंड देने का मन होता था।

मैं गांड मारने वाले दिन अपने लंड पर तेल लगाकर मालिश करता था।
फिर उंगली के माध्यम से अनु की गांड में तेल लगाकर मक्खन की तरह मुलायम बनाता।
अनु की हामी मिलते ही मैं अपना बड़ा लंड उसकी गांड में डाल देता।

अनु की गांड में अक्सर का लंड डालते समय उसकी गहरी आह निकल गई।
थोड़े धक्कों के बाद उसे मज़ा आने लगा और हम दोनों गांड चुदाई करने लगे।

मैं कमसिन लड़की की तरह उसे चोदता था।
फिर मेरा लंड कुछ देर में उसकी गांड के अन्दर ही अपने रस की पिचकारी छोड़कर ढीला होने लगा।
जब मेरा बीज उसकी गांड में निकल गया, तो उसे बहुत खुशी हुई।

उस समय, मैं भी अनु के लंड को हाथ से हिलाकर मुठ मारने लगा, जिससे उसका लंड भी स्खलित होने लगा।

जब मैं उठकर उससे पूछता कि मेरी जान को क्या हुआ..। आपका रस निकला!
आनन्द की अतिरेकता में मेरा दोस्त बताता था कि हां उसका भी वीर्य निकल गया था।

हम दोनों अंडरवियर पहनकर सो जाते और चोदने वाले का बीज निकल जाता।
चुदाई के बाद हम दोनों थके हुए सो गए।

कभी-कभी दोनों जोड़े दिन में भी यौन संबंध बनाते थे।
रविवार या किसी छुट्टी के दिन, हम सब हमारे एक दोस्त के घर के एक कमरे में मिलते थे, या उसी के घर में हमारे पढ़ने वाले कमरे में, और कमरे के दरवाजे की सिटकिनी को अंदर से बंद करते थे।

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हम सब लुंगी अंडरवियर निकाल कर नंगे लेट जाते।
फिर एक दूसरे का लंड पकड़कर हिलाते हैं। उस समय चाहते तो तेल भरकर अपने साथी की गांड में चुदाई करने लगते।

कभी-कभी करवट वाले आसन में तो कभी-कभी साथी को उकड़ू आसन (घोड़े का आसन) में चुदाई करने का मजा लेते हैं।

ये घोड़ा घोड़ी के आसन पर बैठकर चुदाई करने में अधिक मजा आता था। इसमें लंड गांड में अधिक अंदर जाता था।

उस समय, हम सब अक्सर यह मानते थे कि अनु सिर्फ गांड मरवाने के लिए रेडी रहता था और उसका लंड कभी किसी की गांड में नहीं जाता था।

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Apes समलैंगिक संबंध बनाते समय कई अलग-अलग प्रयोग करते थे।
हम कभी कमरे में तो कभी तालाब या नदी में चुदाई करते थे।

हम चारों दोस्तों ने गर्मियों में दोपहर में तालाब में नहाने जाते या कभी-कभी पास की नदी में देर तक नहाते।

पानी के अंदर दोनों कपल चुदाई करते हुए बहुत मज़ा लेते हैं।
एक दूसरे के लंड को पकड़कर उन्हें हिलाते हैं।
देर तक अपने साथी की गांड में लंड डालकर चिपके रहते।

हमारे लंड से वीर्य स्खलित होना बहुत मजा आता था।

इस सबके बावजूद, हम चारों में से कोई भी ऐसा नहीं था कि हम सिर्फ गांड मारने तक सीमित थे।
हम चूत की जुगाड़ में भी रहते थे, इसलिए हम नहाते हुए महिलाओं को चूत की जुगाड़ लगाने का विचार करते रहते थे।

शुरू में, हम सबको चूत की चाहत ने गांड चुदाई का आनंद दिया।
लेकिन चूत चुदाई की इच्छा कम नहीं हुई।

फिर मुझे पहली बार चूत चुदाई करने का अवसर मिला।

एक लड़की हमारे साथ पढ़ती थी।
उसका नाम जीतो था।

वह स्कर्ट टॉप पहनती थी।
उसकी छातियों के उभार पर हमारी दृष्टि थी।

उसके ऊपर से उसके दो बड़े संतरे हमें बहुत आकर्षित करते थे, जो तन कर आम जैसे लगते थे।
उसकी जांघ कभी-कभी दिख जाती, तो हम सभी के लौड़े खड़े हो जाते।

हम सब जीतो में मज़ा लेते।
जीतो ने हाई स्कूल छोड़ दिया था। अब जब हम गांव में उसने देखने जाते थे, तो वह और सुंदर और जवान लगती थी।

उसके बड़े-बड़े चूचे देखकर हमारे लंड कांप गए।
हम चारों दोस्तों ने सोचा कि जीतो को कैसे पटाएं और चोदें।

एक दिन मैंने अपने दोस्त से कहा कि जीतो को चुदवाने के लिए पटाओ, चाहे कुछ भी करो।
हमें मिलकर काम मिला।

वह दिन रविवार था।
उस दिन जीतो प्रायमरी स्कूल के कुआं के पीछे जाएगी। हर रविवार को, हम चारों उसे एक-एक करके कुआं के पास बनी टंकी में चोदेंगे।

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अनु इस योजना में तैयार नहीं था।
वह साला डर रहा था और झिझक रहा था।

शेष तीन तैयार थे।

मैंने कहा कि मैं पहले दिन उसे चोदूंगा। उसे हर रविवार को एक-एक करके चोदना।
माने एक रविवार को जीतो की चूत में एक ही लंड घुसेगा।

हम तीन दोस्त अगले रविवार की दोपहर में स्कूल के बाहर इंतजार कर रहे थे।

वह आयी और टंकी के पास बैठ गई।
मैंने उसे टंकी के भीतर फोन किया।

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हम दोनों टंकी में बैठ गए जब वह आई।
उससे दूध खोलने के लिए मैंने जीतो की चूचियों को सहलाया और दबाया।

उसने अपने कपड़े निकालकर अपनी चूचियां खोली।
साली के गोल गोल आम थे..। मैंने उसके दोनों आमों को पकड़ा, दबाया, मसला और अच्छी तरह से मसला।

मुझे बहुत मजा आ रहा था, मेरा लंड खड़ा हो गया था और उसे चोदने के लिए तैयार था।

मैंने जीतो की पैंटी और अपना लंड निकाल दिया।
मेरा लंड खड़ा, तना हुआ और टन टन कर रहा था।

वह प्यार से लंड को देखने लगी।
जीतो को लंड पकड़ने को कहा।
वह लंड को हाथ में लेकर उसे हिलाने लगी।

मैंने उससे अपनी टांग फैलाने को कहा।
वह टांगों को फैलाकर चुदने के लिए तैयार हो गई।
उसकी चूत पर घने, छोटे, काले बाल थे।

मैंने चुदाई की पोजीशन में अपना लौड़ा उसकी चूत में डाल दिया।
उसने आह आह करते हुए अपनी लंड उड़ा दी।

मैं उसकी फ़ुद्दी में लंड डालकर बाहर निकालने लगा।
उसकी कसी हुई चूत में लंड डालने में मुझे बहुत मजा आया।

“फच पच फच…” करते हुए लंड को चोदा जा रहा था।
हाँ, आह आह कर रही थी।

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मैंने उसे कुछ देर तक खुशी से चोदा, फिर सर्रर करके अपना वीर्य बहाया।

जीवन में यह पहली बार था जब मैं किसी लड़की को चोदा था..। एक यादगार चुदाई में देसी लड़की की चूत चुदाई!

अगले रविवार को भी ऐसा ही हुआ।
दूसरा मित्र आया।

तीसरे रविवार को जीतो को तीसरे दोस्त ने चोदा।

जीतो की चूचियों और फ़ुद्दी की चमक वास्तव में शानदार थी।

सेक्स कहानी के माध्यम से मैंने आपको बताया कि इस तरह से हम चारों दोस्तों ने अपने बचपन का मजा लिया।
जैसे हम Desi Ladki Ki Xxx Chut Chudai, आपको क्या कहना है?
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