Oyo me incest chudai sex story – Hotel me Bhai Bahan ki chudai: मेरा नाम रूचि है, उन्नीस साल की गदराई हुई सेक्सी लड़की हूँ, गोरा बदन, भरी हुई चूचियाँ और चौड़ी गांड वाली, उस दिन टाइट जीन्स और क्रॉप टॉप पहने हुए थी, मूड बिलकुल हॉर्नी था। फेसबुक पर मेरी सेक्सी ब्रा वाली प्रोफाइल पिक देखकर हजारों लड़के मुझे मैसेज करते हैं, मैं भी दोस्त बनाने के लिए हर ऐप यूज करती हूँ। एक दिन इनबॉक्स में एक लड़के की रिक्वेस्ट आई, मैंने एक्सेप्ट कर लिया, धीरे-धीरे चैट बढ़ी, दोस्ती हो गई, फिर हमने प्रॉमिस किया कि चेहरे नहीं दिखायेंगे, सिर्फ बदन देखेंगे। वो लाइव आता तो नंगा हो जाता, मैं भी नंगी होकर कैमरे के सामने चूचियाँ सहलाती, अपनी गीली चूत पर उँगलियाँ फेरती, वो अपना मोटा लंड हिलाता, दोनों वासना से भर जाते।
धीरे-धीरे बात होटल मिलने तक पहुँची, हम दोनों दिल्ली के थे पर एरिया नहीं बताया, बस चुदाई करनी थी तो कुछ पूछना जरूरी नहीं लगा। अशोक विहार के ओयो होटल में मिलने का प्लान बना, शर्त वही कि चेहरे नहीं देखेंगे। वो पहले पहुँच गया, मास्क लगाकर पूरा चेहरा ढका हुआ था, मैं दस मिनट बाद पहुंची, दुपट्टा मुँह पर लपेटकर अंदर घुसी। जाते ही हम एक-दूसरे पर टूट पड़े, उसने मेरी क्रॉप टॉप ऊपर खींची, ब्रा खोली, भरी हुई चूचियाँ बाहर निकलीं, फिर जीन्स उतारी, पैंटी नीचे सरका दी, मैं पूरी नंगी हो गई। उसने भी अपने कपड़े उतार फेंके, उसका मोटा लंड तनकर खड़ा था। वो मेरी चूचियों को जोर-जोर से दबाने लगा, निप्पल्स को उँगलियों से मसलता, फिर एक उँगली मेरी चूत में डालकर अंदर-बाहर करने लगा, मेरी चूत से पानी छूटने लगा, मैं सिसकियाँ लेने लगी आह्ह.. इह्ह..। वो पागल हो रहा था, मेरे बदन को चूमता, चाटता, मेरी गांड दबाता।
अब तक हम चुप थे, सिर्फ साँसें और हल्की आहें, उसने मेरे निप्पल्स को दाँतों से काटा, मैं तड़प उठी ऊउइ.. ह्ह्ह.. पुरा बदन में आग लग गई। मैंने टाँगें चौड़ी कर दीं, वो घुटनों के बल बैठा, अपना मोटा लंड मेरी चूत पर रगड़ने लगा, फिर एक जोर का धक्का मारा, पूरा लंड अंदर घुस गया आह्ह्ह्ह.. ह्हीईई.. चूत फट गई लगी। वो दोनों हाथों से चूचियाँ मसलता रहा, कमर पकड़कर जोर-जोर से धक्के मारने लगा थप-थप.. थप-थप.. चूत में चपचप.. चपचप की आवाजें गूंजने लगीं, मैं गांड हिलाकर साथ देती रही आह.. हाँ.. और जोर से..। दस मिनट तक ऐसे चोदा, पसीना छूट रहा था, मेरी चूत और गीली हो गई।
फिर उसने इशारा किया, मैं घोड़ी बन गई, गांड ऊपर उठाई, उसने मेरी गांड के छेद पर थूक लगाई, मैं समझ गई गांड भी मारेगा, मैं तैयार थी। उसने लंड चूत पर सेट किया, थूक लगाकर एक जोर का धक्का मारा, पूरा लंड गांड में घुस गया, मैं चीख पड़ी ओह्ह्ह्ह्ह.. अअअअ.. मर गई.. फाड़ दिया मेरी गांड..। इतना सुनते ही उसने लंड बाहर खींच लिया और बोला मुँह दिखाओ, मैं हक्की-बक्की रह गई, मेरे सगे भाई की आवाज थी, उसने भी मेरी चीख सुनकर लंड बाहर निकाला। मास्क उतारा, दुपट्टा हटाया, आँखें मिलीं तो दोनों काँप गए, मैंने मुँह फेर लिया, वो भी शर्म से लाल हो गया। रुकने की कोशिश की, कपड़े उठाने लगे, पर बदन अभी भी जल रहा था, मेरी चूत से रस टपक रहा था, उसका लंड आधा खड़ा था। मैंने कहा रुक भाई, इतना हो ही गया है, एक बार पूरा कर लेते हैं, वो हाँ में सिर हिलाया, आँखों में हवस और गुस्सा दोनों।
उसने मुझे बेड पर धकेला, पैर ऊपर उठाए, लंड फिर चूत में घुसेड़ दिया आह्ह्ह.. ह्हीईई.. और गालियाँ देने लगा, साली रंडी, फेसबुक पर कितने लंड ले चुकी है, बोल कितने लंड तेरी बुर में घुसे, मैं सिसकते हुए बोली सिर्फ तेरा भाई, उसने जोर का थप्पड़ मारा गांड पर, झूठी हरामी, रोज चैट करती है, आज सच बोल, मैंने कबूल किया तीन-चार ऑनलाइन वाले, वो और गुस्सा हुआ, कुटिया, आज तेरी चूत-गांड दोनों फाड़ दूँगा। वो लंड को जड़ तक घुसाता, बाहर निकालता, फिर घुसाता फचक.. फचक.. थप्पड़.. थप्पड़.., मेरी चूचियाँ लाल हो गईं दबाने से, मैं चीखती आह.. हाँ भाई.. सच बोल रही हूँ.. और पेल..। वो बाल पकड़कर खींचता, निप्पल चबाता, गाली देता, छिनाल बहन, अपना भाई चोद रहा है, कितनी गीली है रे तेरी बुर, मैंने नाखून उसकी पीठ पर गड़ाए, टाँगें उसके कमर पर लपेटीं ऊईई.. ऊउइइ.. ह्ह्हााा..। घोड़ी बनाया, गांड पर लाल निशान पड़ गए थप्पड़ों से, लंड गांड में ठूँसा, पाँच-सात धक्के मारे फचक.. फचक.. चपचप.. फिर चीखते हुए बाहर निकाला, चूत में फिर डाला, इतना जोर से पेला कि बेड चरमराने लगा, मेरी साँसें फूल गईं, चूत में जलन और मजा दोनों, वो पूछता रहा, और कितने लंड चाहिए, बोल रंडी, मैं बोली बस तेरा भाई.. आह्ह्ह..। बीस मिनट तक चुदाई चली, मेरी चूत से सफेद झाग निकलने लगा, मैं झड़ गई आआअह्ह्ह्ह.. भाई.. आ गया.., वो रुका नहीं, और तेज थोकता रहा, आखिर में लंड निकालकर मेरी चूचियों पर गरम माल उड़ेल दिया, दोनों हाँफते लेट गए।
पसीना ठंडा होने को था, पर हवस नहीं गई, भाई ने फिर लंड सहलाया, मोटा हो गया, बोला अभी एक राउंड और, साली, तेरी चूत अभी भूखी है। मैंने हाँ में सिर हिलाया, वो मुझे गोद में उठाया, दीवार से सटाकर खड़ा किया, मेरे पैर उसके कमर पर, लंड चूत में घुसाया आह्ह्ह.. ह्हीईई.. और दीवार से टकराते धक्के मारने लगा ठप्प.. ठप्प.. ठप्प.., मेरी पीठ दीवार से रगड़ रही थी, चूचियाँ उसके सीने से दब रही थीं, वो गाली देता, हरामी, फेसबुक की रंडी, अब रोज मेरे लंड से ही झड़ेगी, मैं बोली हाँ भाई.. बस तेरा.. ऊईई.. ऊउइइ..। फिर बेड पर लिटाया, मेरे ऊपर चढ़ा, मिशनरी में लंड घुसाया, मेरे हाथ बाँधे तकिये से, जोर-जोर से थोकता, पूछता, कितने लंड चाटे, कितनों का माल पिया, मैं कबूल करती, दो का पिया.. आह्ह्ह.., वो और गुस्सा, कुतिया, आज तुझे अपना माल पिलाऊँगा। घोड़ी बनाया, बाल पकड़कर खींचता, गांड पर थप्पड़, लंड गांड में डाला, दस धक्के मारे फचक.. फचक.. चपचप.., मैं चीखती ओह्ह्ह्ह.. भाई.. धीरे.. फिर चूत में डाला, मेरे निप्पल चबाता, चूत में उँगली भी घुसाई साथ में, मैं पागल हो गई ऊईईई.. ह्ह्हााा.. आह्ह्ह..। तीस मिनट तक चुदाई, मेरी चूत सूज गई, बदन काँप रहा था, आखिर मैं फिर झड़ी आआअह्ह्ह्ह.. भाई.. मर गई.., उसने लंड मेरे मुँह में ठूँसा, ग्ग्ग्ग.. ग्ग्ग्ग.. गी.. गी.. करते माल मेरे गले में उड़ेल दिया, मैं निगल गई।
साँसें फूल रही थीं, पसीना लथपथ, हमने फैसला किया, जब तक शादी नहीं होती, एक-दूसरे को चोदते रहेंगे। भाई बोला, अब ये ऐप्स बंद, जो चाहिए मैं दूँगा, रोज तेरी चूत-गांड मारूँगा, तू बस मेरे लंड की रंडी बन।