लिंग छोटा होने से मैंने अपने पति को धोखा दिया

मेरा नाम मिताली है, और मैं गुजरात में रहती हूँ। मैं शादीशुदा हूँ, और मेरी शादी को 5 साल हो चुके हैं। मेरे पति का नाम हर्षद है। वो कॉलेज में मेरा सीनियर था। हम दोनों के बीच प्यार हुआ, हमने एक ही कॉलेज में पढ़ाई की, और फिर हमारी शादी हो गई। हमारा कोई बच्चा नहीं है। इसका कारण हर्षद का लो स्पर्म काउंट है।

पहले मैं अपने बारे में बताती हूँ, फिर हर्षद के बारे में। मेरा फिगर 32-26-34 है, मेरी हाइट 5.3 इंच है, और मेरा चेहरा गोरा है। हर्षद मुझसे बहुत प्यार करता है। उसकी हाइट 5.5 इंच है, और उसका लंड 5.11 इंच का है। शायद इसी वजह से मैं उससे पूरी तरह संतुष्ट नहीं थी।

शादी के शुरूआती दिनों में हम खूब मजे करते थे, लेकिन दो साल बाद मुझे उसका लंड बेकार लगने लगा। फिर भी, हर्षद को मुझ पर पूरा भरोसा था कि मैं उसे कभी धोखा नहीं दूँगी। लेकिन वो गलत था। एक दिन मेरा बहुत पुराना दोस्त हमारे घर मिलने आया। वो स्कूल में मेरा क्लासमेट था। उसके साथ मैं थोड़ा ज्यादा ही फ्रेंडली हो गई थी।

हर्षद को लगा कि पुराने दोस्त हैं, तो इतना तो चलता है। लेकिन मैं उसके साथ कुछ ज्यादा ही फ्लर्ट कर रही थी। फिर वो चला गया, और मैं उस दिन बहुत खुश थी। ऐसे ही एक महीना बीत गया। मैं हर्षद को बताती थी कि वो कब-कब घर आता था। एक दिन हर्षद को ऑफिस से जल्दी छुट्टी मिल गई।

उसने सोचा कि आज मेरे साथ फिल्म देखने जाएगा। जैसे ही वो घर पहुँचा, उसे किचन से कुछ आवाजें सुनाई दीं। वो मेरी आवाज थी। मैं कह रही थी, “प्लीज… रोनित, यह ठीक नहीं है, मैं शादीशुदा हूँ।” हर्षद का दिल काँप गया, और वो चुपके से किचन की तरफ आया। उसने देखा कि मेरा दोस्त रोनित मेरी गांड से चिपक कर खड़ा था।

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हर्षद को गुस्सा आया, लेकिन उसने सोचा कि देखता है कि मैं क्या करती हूँ। मैं कुछ-कुछ प्रतिक्रिया दे रही थी। फिर रोनित ने मुझे अपनी तरफ घुमाया और झट से मेरे होंठों को चूम लिया। मैं काँप गई। मैं उसे हटाने की कोशिश करने लगी, लेकिन उसकी पकड़ बहुत मजबूत थी।

मैं 10 मिनट तक उसे रोकने की कोशिश करती रही। फिर रोनित ने मेरे बूब्स दबाने शुरू कर दिए। मैं लड़खड़ा गई। मेरे दिल में सेक्स की चाहत जागने लगी थी। मैं उसकी किस का जवाब तो नहीं दे रही थी, लेकिन उसे रोक भी नहीं रही थी। मेरी सेक्स की हवस हमारे रिश्ते के बीच आ रही थी। रोनित ने मेरा टॉप उतार दिया। मैंने उस दिन एक नई ब्रा पहनी थी, जो कल तक मेरे पास नहीं थी। हर्षद को लगा कि वो ब्रा रोनित ने ही मुझे दी होगी।

फिर रोनित ने मेरी ब्रा फाड़ दी, और मेरे 32 साइज के बूब्स आजाद हो गए। वो एक हाथ से उन्हें दबाने लगा और दूसरे बूब को मुँह में लेकर चूसने लगा। मैं कोई जवाब नहीं दे रही थी। ऐसा 10 मिनट तक चला, और आखिर में मेरा सब्र टूट गया। मैंने उसके बालों में हाथ डाला और उसे जोर से अपने बूब्स पर दबा दिया।

मुझे एहसास हो गया था कि मैं हर्षद को खो रही हूँ, और वो भी एक ऐसे इंसान के हाथों जिसके बारे में मैंने कभी सोचा भी नहीं था कि ऐसा कुछ हो सकता है। रोनित ने 5 मिनट तक मेरे बूब्स चूसे, फिर मैंने उसे ऊपर खींचा और उसे स्मूच करना शुरू कर दिया। मैंने उसे फ्रेंच किस किया। अब मैं हर्षद से पूरी तरह दूर हो चुकी थी। फिर रोनित ने मुझे गोद में उठाया और डाइनिंग टेबल पर लिटा दिया। हमने 5 मिनट तक किस किया।

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फिर उसने मेरी जीन्स उतारी। मैंने उस दिन पिंक कलर की पैंटी पहनी थी। मैं हमेशा हर्षद से कहती थी कि मुझे ये सब पसंद नहीं है, लेकिन आज मुझे देखकर हर्षद को समझ आ गया कि मैं और रोनित पिछले एक महीने से सिर्फ दोस्तों की तरह मिलने के अलावा कुछ ज्यादा ही कर रहे थे। रोनित ने मेरी पैंटी भी फाड़ दी, और मेरी टाइट चूत उसके सामने आ गई। उसने मेरी चूत पर एक हल्की-सी किस दी, और मैं मचल उठी।

उसने मेरी चूत को चाटना शुरू कर दिया, और कुछ ही देर में मैं झड़ गई। फिर रोनित ने मेरी चूत में उंगली डालना शुरू किया। पहले उसने एक उंगली डाली—मैं तो मर ही जा रही थी। मैं फिर से झड़ गई। जैसे ही उसने दूसरी उंगली डाली, मैं चिल्ला उठी। ये देखकर रोनित के चेहरे पर मुस्कान आ गई।

उसने मुझसे कहा, “5 साल से तुम जिस लंड को ले रही हो, तुम्हारी चूत को देखकर लगता है कि वो 5 इंच का ही होगा।” ये सुनकर मैं उठी और मैंने उसकी पैंट उतार दी। जैसे ही मैंने उसका अंडरवियर नीचे किया, मेरी आँखें फट गईं। उसका लंड लगभग 7 इंच का था। मेरे चेहरे पर मुस्कान आ गई। मैंने उसका लंड अपने मुँह में ले लिया और 15 मिनट तक उसे चाटती रही।

फिर रोनित ने मुझे उठाकर डाइनिंग टेबल पर लिटाया और अपना लंड मेरी चूत पर रगड़ा। मैं घबरा गई कि आज मैं किसी और के साथ सो रही हूँ। उसने एक धक्का जोर से लगाया और पूरा 7 इंच का लंड मेरी चूत में घुसेड़ दिया। मैं तिलमिला उठी। मेरी आँखों से आँसू बहने लगे—जाहिर-सी बात है कि वो खुशी के आँसू थे।

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रोनित ने धक्के लगाने शुरू कर दिए। मैं सिसकियाँ ले रही थी। एक ही मिनट में मैं झड़ गई। अब वो मुझे और जोर से चोदने लगा। मैं भी उसका साथ देने लगी। 20 मिनट और बीत गए, और इस दौरान मैं 5 बार झड़ चुकी थी। हर्षद के साथ सोते वक्त मैं कभी-कभी ही झड़ती थी।

अब रोनित और तेज हो गया, और मैं भी अपनी गांड हिलाकर मजे लेने लगी। 5 मिनट बाद रोनित बहुत जोर से चिल्लाया और उसने अपना स्पर्म मेरी चूत में छोड़ दिया। मैं भी एक बार फिर झड़ गई। वो मेरे ऊपर ही सो गया और मुझे किस करने लगा। हर्षद वहाँ से एक हारे हुए इंसान की तरह चला गया।

अब मुझे गर्भ का तीसरा महीना शुरू हो गया है। हर्षद आज भी यही सोचता है कि उसके लंड के छोटे होने की वजह से मैं किसी और के बच्चे की माँ बन गई। रोनित आज भी मुझसे मिलने आता है और हर्षद की लाचारी का फायदा उठाता है।

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