दोस्तो, मेरा नमस्ते। मैं शुभम कपूर, फिर से आपके लिए एक चुदास भरी कहानी लेकर आया हूँ। ये कहानी मेरी बहन अवनी (यानि जो अब मेरी गर्लफ्रेंड भी है) की भाभी पूजा की सुहागरात की है।
कहानी का पिछला भाग: मेरी बहनों की चुत की चुदास
अवनी ने मुझे फोन पर सारी डिटेल्स बताईं, जो पूजा ने उसे सुनाई थीं। कहानी सुनते वक्त मेरा लंड ऐसा तना कि मैंने अवनी को उसी रात चोद डाला। अब वही गर्मागर्म कहानी मैं आपके सामने पेश कर रहा हूँ।
अवनी की भाभी पूजा एक रईस खानदान की लड़की है। 5 फीट 7 इंच की, गोरी, फिगर 34B-28-36। उसके गोल, रसीले मम्मे, पतली कमर, और भारी गाँड किसी को भी पागल कर दें। पूजा की शादी मनोज कुमार से हुई, जो 5 फीट 8 इंच का, गठीला, और जवानी से भरा था। उसका 6 इंच का लंड, मोटा और चुदाई के लिए हमेशा तैयार। दोनों के परिवार रूढ़िवादी लेकिन अमीर थे। शादी का समारोह शानदार था, ढोल-नगाड़े, बारात, और रिश्तेदारों की भीड़।
शादी के बाद सुहागरात की रात थी। कमरा गुलाब और चमेली के फूलों से सजा था। हल्की खुशबू, गर्मी का माहौल, और बिस्तर पर लाल चादर। पूजा लाल जोड़े में, घूंघट डाले, बिस्तर पर बैठी थी। मनोज ने अभी तक पूजा का चेहरा नहीं देखा था, बस उसकी भरी-पूरी काया देखकर उसका लंड अंडरवियर में तन रहा था। सात फेरों में पास बैठकर उनकी जिस्म की गर्मी एक-दूसरे को छू रही थी। मनोज के रिश्तेदार मजाक कर रहे थे, “आज रात बिस्तर तोड़ देना, मनोज!” इन बातों से उसका लंड और सख्त हो गया।
मनोज कमरे में दाखिल हुआ। पूजा घूंघट में चुप थी। रिवाज के मुताबिक, उसने दूध का गिलास पिया, लेकिन उसकी नजर पूजा के जिस्म पर थी। उसे पूजा के मम्मों का रस चखने की लालसा थी। पूजा को भी अंदाजा था कि आज उसकी कुंवारी चूत खुलने वाली है। उसने शरमाते हुए खड़े होकर लाइट बंद कर दी। उसे उजाले में कपड़े उतारने में लाज आ रही थी। मनोज ने टॉर्च निकाली और घूंघट उठाने लगा। पूजा ने हल्का सा हाथ रोका, लेकिन सहेलियों की सलाह याद आई—पहली रात पति का विरोध मत करना। उसने हाथ हटा लिया।
मनोज ने घूंघट उठाया। पूजा का चेहरा देखकर वो ठगा सा रह गया। बड़ी-बड़ी आँखें, नुकीली नाक, गोरे गाल, और लाल लिपस्टिक वाले होंठ। वो एकदम अप्सरा थी। टॉर्च की रोशनी में पूजा का चेहरा चमक रहा था। मनोज की नजर नहीं हट रही थी। पूजा ने शरमाकर टॉर्च छीनकर साइड में रख दी। मनोज ने सारी लाइटें चालू कीं। पूजा ने फिर बंद कीं, लेकिन एक नीली LED जलने दी। कमरे में हल्का उजाला था, जो मूड बना रहा था।
पूजा ने सुहागरात की तैयारी की थी। टिश्यू, पानी, कंडोम, और नारियल तेल पास में रखे थे। मनोज ने पूजा के गहने उतारने शुरू किए—मांगटीका, झुमके, मंगलसूत्र। उसने अपनी शर्ट और बनियान उतार दी। उसका गठीला सीना और चौड़ी छाती देखकर पूजा की साँसें तेज हुईं। मनोज ने पूजा को बाँहों में लिया और होंठ चूमने लगा। उसने पहले भी चुदाई की थी, लेकिन पूजा की हसीनाई उसे बेकाबू कर रही थी। उसका लंड अंडरवियर में रिस रहा था। वो पूजा की जीभ चूस रहा था, जैसे भूखा भेड़िया। पूजा की लिपस्टिक हट गई, और उसके गुलाबी होंठ चमक उठे।
मनोज की साँसें भारी थीं। पूजा शांत थी, लेकिन उसकी आँखों में शरम और उत्सुकता थी। मनोज ने सोचा, पहली रात को वासना में बहकर खराब नहीं करना। उसने पूजा को बिस्तर पर लिटाया। उसने प्यार से उसके 34B के मम्मों को ब्लाउज के ऊपर से दबाया। धीरे-धीरे ब्लाउज के बटन खोले। पूजा की काली ब्रा में उसके मम्मे उभरे हुए थे। मनोज ने ब्रा के ऊपर से मम्मे दबाए, फिर ब्रा उतार दी। पूजा के गोल, सुडौल मम्मे सामने थे। भूरे निप्पल तने हुए, जैसे रसीले आम। मनोज ने एक मम्मा मुँह में लिया और चूसने लगा। पूजा सिसकारी, “उफ्फ, मनोज जी, धीरे… आह!”
मनोज ने दूसरा मम्मा दबाया, निप्पल काटा। पूजा की साँसें तेज हो गईं। उसकी चूत गीली होने लगी थी। मनोज ने उसका पेटीकोट का नाड़ा खोला और नीचे सरकाया। पूजा की लाल पैंटी गीली थी। उसने पैंटी उतारी। पूजा की चिकनी, कुंवारी चूत सामने थी, एकदम सीलपैक। मनोज ने चूत पर हाथ फेरा। गर्मी और नमी महसूस हुई। पूजा ने हल्का सा विरोध किया, “मनोज जी, ये क्या कर रहे हो…” लेकिन मनोज ने उसकी बात अनसुनी की।
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उसने पूजा से कहा, “मेरी जान, जब मैं तुम्हारी जीभ चूसूँ, तुम भी मेरी चूसो।” पूजा ने शरमाकर सिर हिलाया। मनोज ने उसकी चूत पर मुँह लगाया। जीभ से चूत की फांकों को चाटने लगा। पूजा चिल्लाई, “आह, माँ, ये क्या… उफ्फ, मनोज जी!” उसकी चूत से पानी टपक रहा था। मनोज ने उसका रस चाटा, जैसे शहद की बूँदें। पूजा की सिसकियाँ गूँज रही थीं, “सीई… और चाटो, मनोज जी… आह!” वो बिस्तर पर तड़प रही थी। मनोज ने जीभ चूत के अंदर डाली। पूजा की चूत काँप रही थी। उसने मनोज का सिर पकड़ लिया, “उफ्फ, मर गई… और चूसो!”
मनोज ने पूजा को 69 की पोजीशन में किया। उसने अपना अंडरवियर उतारा। उसका 6 इंच का लंड तना हुआ था, सुपारा गीला और लाल। पूजा ने पहले लंड को घूरा, फिर शरमाकर मुँह में लिया। उसकी गर्म जीभ मनोज के लंड पर घूम रही थी। मनोज सिसकारा, “आह, पूजा, चूस साली, पूरा लंड ले!” पूजा ने लंड चूसा, जैसे लॉलीपॉप। मनोज उसकी चूत चाट रहा था। दोनों की सिसकियाँ कमरे में गूँज रही थीं। पूजा पहली बार लंड चूस रही थी, लेकिन उसका जोश देखकर मनोज पागल हो गया।
पूजा की चूत से पानी निकला। वो झड़ गई। मनोज ने उसका रस चाट लिया। उसने पूजा से कहा, “मेरा रस भी चखो।” पूजा ने लंड और तेज चूसा। मनोज का माल छूटने वाला था। उसने पूजा के मुँह में माल छोड़ दिया। पूजा ने हल्का सा मुँह बनाया, लेकिन रस निगल लिया। “कैसा लगा?” मनोज ने पूछा। पूजा शरमाकर बोली, “नमकीन… पर अच्छा।”
मनोज का लंड फिर तन गया। उसने पूजा की टाँगें चौड़ी कीं। लंड चूत पर रगड़ा। पूजा सिसकारी, “उफ्फ, अब डाल दो…” मनोज ने नारियल तेल लिया और लंड पर लगाया। उसने एक जोरदार धक्का मारा। पूरा 6 इंच का लंड पूजा की चूत फाड़ता हुआ अंदर घुस गया। पूजा चीखी, “आह, मर गई! माँ, निकालो!” उसकी चूत से खून निकला। मनोज रुक गया। पूजा की आँखों में आँसू थे। उसने उसे चूमा, “बस, मेरी रानी, अब मजा आएगा।”
कुछ देर बाद मनोज ने धीरे-धीरे लंड अंदर-बाहर किया। पूजा की सिसकियाँ आनंद में बदलीं, “आह, मनोज जी, और करो…” मनोज ने धक्के तेज किए। ‘पच-पच’ की आवाज़ कमरे में गूँज रही थी। पूजा की चूचियाँ उछल रही थीं। मनोज ने एक मम्मा दबाया, दूसरा चूसा। पूजा चिल्लाई, “चोदो, मेरी चूत फाड़ दो!” मनोज ने उसकी गाँड के नीचे तकिया रखा और गहरे धक्के मारे। पूजा फिर झड़ गई, उसकी चूत काँप रही थी।
मनोज का माल छूटने वाला था। उसने पूछा, “कहाँ निकालूँ?” पूजा बोली, “चूत में ही छोड़ दो, भर दे मेरी चूत!” मनोज ने जोरदार धक्के मारे और चूत में माल छोड़ दिया। दोनों हाँफते हुए लेट गए। पूजा की चूत में हल्का दर्द था, लेकिन वो खुश थी। मनोज ने उसका माल चूत से उंगली पर लिया और पूजा को चटाया। पूजा ने शरमाकर चाट लिया, “उफ्फ, ये तो मस्त है!”
थोड़ी देर बाद मनोज फिर तैयार हो गया। उसने पूजा को घोड़ी बनाया। उसकी गोल गाँड देखकर मनोज का लंड लोहे सा हो गया। उसने चूत पर लंड रगड़ा और धक्का मारा। पूजा सिसकारी, “आह, भैनचोद, और जोर से!” मनोज ने उसकी कमर पकड़ी और जोर-जोर से चोदा। पूजा की चूचियाँ हिल रही थीं। वो चिल्ला रही थी, “चोद, साले, मेरी चूत का भोसड़ा बना दे!” मनोज ने उसकी गाँड पर तेल लगाया और उंगली डाली। पूजा चिल्लाई, “उफ्फ, गाँड में क्या कर रहा है?” मनोज बोला, “बस, मजा दे रहा हूँ।” उसने उंगली से गाँड चोदी, फिर लंड चूत में पेल दिया।
करीब 15 मिनट की चुदाई के बाद पूजा तीसरी बार झड़ गई। मनोज ने अपना माल पूजा की चूचियों पर छोड़ा। पूजा ने उंगली से माल चाटा और मनोज को चूम लिया। “ये तो जन्नत है,” उसने कहा। मनोज ने हँसकर जवाब दिया, “अभी तो पूरी रात बाकी है।”
तीसरे राउंड में मनोज ने पूजा को टाँगें ऊपर उठाकर चोदा। उसकी चूत अब खुल चुकी थी। वो चिल्ला रही थी, “पेल दे, मादरचोद, मेरी चूत तेरे लंड की गुलाम है!” मनोज ने 20 मिनट तक धक्के मारे। पूजा चौथी बार झड़ी। मनोज ने माल पूजा के मुँह पर छोड़ा। पूजा ने हँसकर रस चाट लिया।
सुहागरात की रात पूजा चार बार चुदी, हर बार नए मजे के साथ। मनोज ने उसे चूमकर कहा, “प्यार, अब हर रात ऐसी होगी।” पूजा शरमाकर बोली, “तुम्हारा लंड तो जादू है।” समय के साथ पूजा सेक्स में खुल गई। अब वो मनोज का लंड चूसती है, गाँड चटवाती है, और हर पोज में चुदती है। उनकी एक बेटी भी है।
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